सास बनी मुखिया तो बहू हो गयी सरपंच, बदलाव की लहर के बीच इस जोड़ी ने बचाई अपनी कुर्सी

JAMUI (MR) : बिहार पंचायत चुनाव का पांचवां चरण भी पूरा हो गया। पांचों चरण में मुखिया व सरपंच पदों में व्यापक बदलाव देखे गए हैं। उम्मीद की जा रही है कि अगला छह चरण में भी रिजल्ट का रेशियो ऐसा ही रह सकता है। 

अब तक के रिजल्ट के आंकड़े बताते हैं कि कहीं 80 परसेंट तो कहीं 90 परसेंट मुखिया चुनाव हार गए। अंगुली पर गिनती की ऐसी पंचायतें मिलेंगी, जहां 30 परसेंट मुखिया चुनाव जीतें हों। तो कुछ पंचायतें ऐसी भी है, जहां सबके सब मुखिया हार गए। यही बात सरपंच में भी लागू होती है। लेकिन इस बदलाव के बीच जमुई से अच्छी ख़बर है। वहां सास-बहू की जोड़ी फिर से हिट रही। सास ने मुखिया तो बहू ने सरपंच पद पर दोबारा कब्जा जमाया। 

जमुई के बरहट प्रखंड से मुखिया और सरपंच पद पर सास-बहू की जोड़ी ने लगातार दूसरी बार जीत हासिल की है। पंचायत चुनाव के 5वें चरण की मतगणना के बाद मुखिया जितनी देवी ने अपनी कुर्सी बचा ली। वहीं, बुधनी देवी भी सरपंच के पद पर जीत गयीं। जितनी ने अपने निकटतम प्रतिद्वंद्वी तुलसी देवी को 1220 मतों से हराया। वहीं, बुधनी देवी ने सरपंच पद पर इना देवी को 1055 वोट से पराजित किया।

नवनिर्वाचित मुखिया जितनी देवी रिश्ते में सास लगती हैं। उनके पति एक सामाजिक व्यक्ति हैं। वहीं, सरपंच पद की विजेता बुधनी देवी रिश्ते में बहू हैं। वो अपने पति के साथ मजदूरी का काम भी करती हैं। जितनी मुखिया और बुधनी सरपंच के अनुसार, हम दोनों को क्षेत्र की जनता प्यार से सास और बहू के नाम से जानती है। हम दोनों को बरहट पंचायत की जनता ने भरपूर प्यार दिया और लगातार दूसरी बार हमें विजयी बनाया है। यह जीत हमारी नहीं, बल्कि जनता की जीत है। इसके लिए बरहट की जनता को बहुत-बहुत धन्यावाद देती हूं। 

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